जूस के ठेले से गुलशन कुमार कैसे बने कैसेट किंग, मन्दिर के बाहर मारी गई थी 16 गोलियाँ

90 के दशक में एक नाम बहुत शोहरत कमा रहा था, बॉलीवुड में उन्हें बहुत ही सम्मान दिया जाता था वह एक भक्ति सिंगर होने के साथ माता वैष्णो देवी के अनन्य भक्त थे।

Gulshan Kumar T Series

हम बात कर रहें हैं Gulshan Kumar साहब की, संघर्ष के दिनो मे जूस के ठेले से अपने जीवन की शुरूवात करने वाले गुलशन T-Series म्यूजिक कम्पनी के संस्थापक थे अपने नाम के अनुरूप ही उन्होंने उस समय भक्ति संगीत और बॉलीवुड के गानों के माध्यम से सुर जगत को गुलशन ही कर दिया था।

शुरुवाती दिनों में गुलशन ने जूस की दुकान में किया था काम 

5 may 1951 को दिल्ली के मध्यम वर्गीय परिवार में जन्मे गुलशन कुमार दिल्ली विश्वविद्यालय के देशबंधु कालेज से ग्रेजुएशन के बाद पिता चंद्रभान जी के कारोबार जूस की दुकान पर काम करते थे लेकिन उनका मन इस व्यापार में मन नहीं लगता था। गुलशन कुमार दुआ का परिवार भारत और पाकिस्तान विभाजन के समय पाकिस्तान के पंजाब प्रांत से बतौर शरणार्थी के रूप में दिल्ली आकर बसा था।

पिता ने खुलवाई कैसेट रिकॉर्डिंग की दुकान

पिता ने देखा कि गुलशन का मन जूस की दुकान पर नहीं लग रहा है तब उन्होंने कैसेट रिकॉर्डिंग की दुकान खुलवाई, उस जमाने में गाने रिकॉर्ड कर मात्र 7 रुपए का कैसेट बेंचा जाता था व्यापार चलने के बाद इन्होंने नोएडा में ऑफिस डाला और सुपर कैसेट इंडस्ट्रीज की नीव रखी।

T series earn qayamat se Qayamat Tak

  • शुरूवात में कुछ दिनों तक नोएडा के बाद लाभ होने पर मुंबई चले आए।
  • पहले वह इस म्यूजिक कम्पनी के तहत स्वयं के गाए भजन रिकॉर्ड कर रिलीज करते थे।
  • बॉलीवुड में पहला ब्रेक "कयामत से कयामत तक" फिल्म में मिला था जिसके 80 लाख कैसेट बिके थे।
  • आशिकी फिल्म के गानों ने तो रिकॉर्ड ही तोड़ दिया था।
  • सुपर कैसेट इंडस्ट्रीज का नाम T-Series पड़ा जिसमे टी का मतलब "त्रिशूल" है।
  • 1990 में टी सीरीज की सालाना कमाई 20 करोड़ के आसपास थी।
  • 1995 के समय कम्पनी लगभग 500 करोड़ रुपए की नेटवर्थ बना चुकी थी।
  • साल 1997 तक में TIPS और SAREGAMA म्यूजिक इंडस्ट्री को पछाड़ कर टी-सीरीज नंबर वन बन चुका था।

गुलशन कुमार की हत्या किसने करवाई थी

गुलशन कुमार भगवान शिव और माता विष्णों के अनन्य भक्त थे और रोजाना अंधेरी स्थित भोलेनाथ के जीतेश्वर मन्दिर में पूजा करने 10 बजे जाते थे 12 अगस्त 1997 को बाहर निकलते ही एक युवक ने बोला कि "बहुत कर ली पूजा" और एक के बाद एक कुल मिलाकर 16 गोलियां दाग दी वह कुछ देर तक भागे लेकिन पीछा करके गुंडों ने उन्हें मौके पर बेरहमी से मार डाला।

gulshan with Nadeem shrawan

  • 5 और 8 अगस्त को धमकी भरे फोन और फिरौती के लिए मांग की गई थी।
  • सरकार द्वारा मुहैया कराया गया सिपाही छुट्टी पर था।
  • उनके ड्राइवर सूरज ने बचाव किया और उसके दोनो पैरों पर गोली मारी गई।
  • नदीम श्रवण पर हत्या कराने के आरोप लगे।
  • अब्दुल मर्चेंट ने हत्या की जिम्मेदारी ली और बयान में यह बताया कि दौड़ अब्राहम और अबू सलेम के कहने पर हत्या करी है।

वर्तमान में T-Series भारत की सबसे बड़ी म्यूजिक कम्पनी है और विश्व का सबसे बड़ा म्यूजिक यूट्यूब चैनल है इसका मालिकाना हक गुलशन के बेटे भूषण कुमार के पास है आज भी माता वैष्णो के धाम में उनके नाम पर हर साल भंडारे का आयोजन किया जाता है।

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Amit Mishra

By Amit Mishra

नमस्कार! यह हमारी टीम के खास मेंबर हैं इनके बारे में बात की जाए तो सोशल स्टडीज में मास्टर्स के साथ ही बिजनेस में भी मास्टर्स हैं सालों कई कोचिंग संस्थानों और अखबारी कार्यालयों से नाता रहा है। लेखक को ऐतिहासिक और राजनीतिक समझ के साथ अध्यात्म,दर्शन की गहरी समझ है इनके लेखों से जुड़कर पाठकों की रुचियां जागृत होंगी साथ ही हम वादा करते हैं कि लेखों के माध्यम से अद्वितीय अनुभव होगा।

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